* राजधानी के मुद्दे को भाजपा सिर्फ राजनैतिक लाभ लेने के लिये इस्तेमाल करती है।
* इस समय डब्बल इंजिन की सरकार स्थायी राजधानी का निर्णय ले।
* उत्तराखंड को अस्थायी राजधानी के हातिमताई के तिलिस्म में फँसा दिया गया है।
(ब्यूरो ,न्यूज़ 1 हिन्दुस्तान )
देहरादून। कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपध्याय ने कहा कि विधानसभा का सत्र भराड़ी सैण में आहूत न कर त्रिवेंद्र सरकार व भाजपा की पहाड़ विरोधी मानसिकता की निन्दा की है ।किशोर ने कहा भराड़ीसैण में कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव हरीश रावत ने उपवास किया, मैं उसमें अपने गाँव पाली में लोक देवताओं, जो हमारे सुख-दुःख के कारक हैं और जिन्हें हम भूलते जा रहे हैं, उनके पुन: स्मरण-जागरण में व्यस्त होने के कारण शामिल नहीं हो पाया लेकिन उसका पूरा समर्थन करता हूं।
राजधानी के मुद्दे को भाजपा सिर्फ राजनैतिक लाभ लेने के लिये इस्तेमाल करती है। भाजपा ने राजधानी के मामले में प्रदेश को मकड़जाल में फँसाया है, उस समय बने तीन राज्यों में सिर्फ़ उत्तराखंड को अस्थायी राजधानी के हातिमताई के तिलिस्म में फँसा दिया गया है।इस समय डब्बल इंजिन की सरकार स्थायी राजधानी का निर्णय ले।
उपाध्याय ने कहा कि वे दो राजधानियों की अवधारणा के ख़िलाफ़ हैं और अगर दो राजधानियाँ बननी हैं तो शीतक़ालीन राजधानी बनानी है तो भराड़ी सैण को बनाया जाय, जिससे हुक्मरान पहाड़ी क्षेत्र की (ठण्ड बुखा सकें) समस्याओं को महसूस कर सकें तथा गर्मियों में मैदानी क्षेत्र की समस्याओं और गर्मी से रूबरू हो सकें।
हिमाचल में दो राजधानियों का प्रयोग सफल नहीं रहा है, लेकिन वहाँ की दोनों राजधानियों का मौसम एक जैसा है।
उपाध्याय ने कहा कि राजधानी जनता के लिये बने, न कि हुक्मरानों की ऐश के लिये। उपाध्याय ने कहा कि वे उत्तराखंड राज्य आन्दोलन के महानायक स्व. श्री इन्द्रमणि बडोनी जी के जन्मदिन पर उनकी पवित्र जन्मभूमि ‘अखोड़ी’से राज्य के सरोकारों, जिसमें स्थायी राजधानी और वनाधिकारों के संकल्प शामिल होंगे, को लेकर जन जागरण कार्यक्रम की रूपरेखा तय करेंगे।
किशोर ने बताया कि 8 दिसंबर को हरिद्वार में वनाधिकारों व पुश्तैनी हक़-हक़ूक़ों को लेकर श्री जगपाल सैनी जी विशाल सम्मेलन आयोजित कर रहे हैं।
* इस समय डब्बल इंजिन की सरकार स्थायी राजधानी का निर्णय ले।
* उत्तराखंड को अस्थायी राजधानी के हातिमताई के तिलिस्म में फँसा दिया गया है।
(ब्यूरो ,न्यूज़ 1 हिन्दुस्तान )
देहरादून। कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपध्याय ने कहा कि विधानसभा का सत्र भराड़ी सैण में आहूत न कर त्रिवेंद्र सरकार व भाजपा की पहाड़ विरोधी मानसिकता की निन्दा की है ।किशोर ने कहा भराड़ीसैण में कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव हरीश रावत ने उपवास किया, मैं उसमें अपने गाँव पाली में लोक देवताओं, जो हमारे सुख-दुःख के कारक हैं और जिन्हें हम भूलते जा रहे हैं, उनके पुन: स्मरण-जागरण में व्यस्त होने के कारण शामिल नहीं हो पाया लेकिन उसका पूरा समर्थन करता हूं।
राजधानी के मुद्दे को भाजपा सिर्फ राजनैतिक लाभ लेने के लिये इस्तेमाल करती है। भाजपा ने राजधानी के मामले में प्रदेश को मकड़जाल में फँसाया है, उस समय बने तीन राज्यों में सिर्फ़ उत्तराखंड को अस्थायी राजधानी के हातिमताई के तिलिस्म में फँसा दिया गया है।इस समय डब्बल इंजिन की सरकार स्थायी राजधानी का निर्णय ले।
उपाध्याय ने कहा कि वे दो राजधानियों की अवधारणा के ख़िलाफ़ हैं और अगर दो राजधानियाँ बननी हैं तो शीतक़ालीन राजधानी बनानी है तो भराड़ी सैण को बनाया जाय, जिससे हुक्मरान पहाड़ी क्षेत्र की (ठण्ड बुखा सकें) समस्याओं को महसूस कर सकें तथा गर्मियों में मैदानी क्षेत्र की समस्याओं और गर्मी से रूबरू हो सकें।
हिमाचल में दो राजधानियों का प्रयोग सफल नहीं रहा है, लेकिन वहाँ की दोनों राजधानियों का मौसम एक जैसा है।
उपाध्याय ने कहा कि राजधानी जनता के लिये बने, न कि हुक्मरानों की ऐश के लिये। उपाध्याय ने कहा कि वे उत्तराखंड राज्य आन्दोलन के महानायक स्व. श्री इन्द्रमणि बडोनी जी के जन्मदिन पर उनकी पवित्र जन्मभूमि ‘अखोड़ी’से राज्य के सरोकारों, जिसमें स्थायी राजधानी और वनाधिकारों के संकल्प शामिल होंगे, को लेकर जन जागरण कार्यक्रम की रूपरेखा तय करेंगे।
किशोर ने बताया कि 8 दिसंबर को हरिद्वार में वनाधिकारों व पुश्तैनी हक़-हक़ूक़ों को लेकर श्री जगपाल सैनी जी विशाल सम्मेलन आयोजित कर रहे हैं।
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